प्रदेश में ग्राम सभा को सक्षम, पारदर्शी एवं बेहतर बानाने हेतु एमपीजे की कोशिश रंग ला रही है,


मूव्मेंट फॉर पीस
एंड जस्टिस फॉर वेलफेयर (एमपीजे) ने प्रदेश में पंचायती राज को सक्षम
, पारदर्शी एवं बेहतर बनाने हेतु राज्य सरकार से आगामी 26 जनवरी 2018 को होने वाली
तमाम ग्राम सभाओं की बैठकों की विडियो रिकॉर्डिंग कराने की मांग की है
, ताकि इन ग्रामसभाओं में जनहित में लिए गए निर्णयों में कोई रद्दो बदल की गुंजाईश
बाकी न रह सके. इस से न केवल जनता का ग्रामसभाओं में विश्वास बहाल होगा
, बल्कि यह लोकतंत्र को भी मज़बूती प्रदान करेगा.

दरअसल ग्रामीण जनता
का मानना है कि
, ग्रामसभा में लिए गए निर्णयों को बदल दिया
जाता है! जिसके कारण जनता का ग्रामसभाओं से विश्वास समाप्त होता नज़र आ रहा है
, जो एक स्वस्थ लोकतंत्र के लिए शुभ संकेत नहीं है.

एमपीजे ने
राज्यव्यापी स्तर पर जिलाधिकारियों को मेमोरेंडम दे कर 26 जनवरी 2018 को होने वाली
तमाम ग्राम सभाओं की बैठकों की विडियो रिकॉर्डिंग कराने की मांग की है.

एमपीजे के इस
प्रयास के सकारात्मक परिणाम नज़र आ रहे हैं. नागपुर जिला परिषद के सी ई ओ से मिलने
गए एमपीजे के एक प्रतिनिधि मंडल को उपमुख्य कार्यकारी अधिकारी (पंचायत) ने
बताया कि नागपुर ज़िले में जिला परिषद ने सभी ग्राम पंचायत को ग्राम सभाओं की कार्यवाही
की विडियो रिकॉर्डिंग कराने का आदेश दे दिया है. इस प्रतिनिधि मंडल में एमपीजे एग्जीक्यूटिव
काउंसिल की सदस्य डॉ. तस्निम बानो
, जिला अध्यक्ष शकिल
मोहम्मदी
,पश्चिम नागपुर अध्यक्ष साबिर खान, राजेश बांगड़ और नियाज मोमिन आदि शामिल थे.


            

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